अमान्यता को समझना: प्रकार और उदाहरण
अमान्यता अमान्य या वैध न होने की स्थिति है। यह विभिन्न चीज़ों का उल्लेख कर सकता है, जैसे:
1. कानूनी अमान्यता: एक दस्तावेज़, अनुबंध, या समझौता जो कानूनी आवश्यकताओं को पूरा नहीं करता है और इसलिए अदालत में लागू करने योग्य नहीं है।
2. चिकित्सीय अमान्यता: एक चिकित्सीय स्थिति या चोट जो किसी व्यक्ति को कुछ गतिविधियाँ या कार्य करने में असमर्थ बना देती है।
3. नैतिक अमान्यता: एक विश्वास, मूल्य या प्रथा जिसे समाज या लोगों के एक विशेष समूह द्वारा गलत या अनैतिक माना जाता है।
4. वैज्ञानिक अमान्यता: एक वैज्ञानिक सिद्धांत, परिकल्पना या विधि जो अनुभवजन्य साक्ष्य और प्रयोग के माध्यम से त्रुटिपूर्ण या गलत साबित हुई है।
5. तार्किक अमान्यता: एक तर्क या तर्क जो गलत आधार पर आधारित होता है, जिसमें तार्किक भ्रांतियाँ होती हैं, या विरोधाभासी निष्कर्षों की ओर ले जाता है।
6. गणितीय अमान्यता: एक गणितीय कथन, प्रमाण या सूत्र जो गलत है या गणित के नियमों का पालन नहीं करता है।
7. दार्शनिक अमान्यता: एक दार्शनिक सिद्धांत, अवधारणा या तर्क जिसे अन्य दार्शनिकों या विद्वानों द्वारा त्रुटिपूर्ण या असंगत माना जाता है।
8. सामाजिक अमान्यता: एक सामाजिक मानदंड, प्रथा या प्रथा जिसे समाज या लोगों के एक विशेष समूह द्वारा अनुचित या हानिकारक माना जाता है। सामान्य तौर पर, अमान्यता वैध नहीं होने या आवश्यक मानकों को पूरा नहीं करने की स्थिति को संदर्भित करती है, चाहे वह कानूनी हो, वैज्ञानिक, नैतिक, या कोई अन्य संदर्भ।